दिल्ली पुलिस और किसानों के बीच नहीं बनी सहमति, टीकरी बॉर्डर खोलने पर बैठक बेनतीजा:

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टीकरी बॉर्डर:नए कृषि कानूनों के खिलाफ जारी किसान आंदोलन के कारण 11 महीने से बंद टीकरी बॉर्डर को खोलने को लेकर हरियाणा सरकार के अफसरों, दिल्ली पुलिस और किसानों के बीच नहीं बनी सहमति, बहादुरगढ़ मिनी सचिवालय में हुई बैठक में हरियाणा सरकार की हाईपावर कमेटी के मेंबर और झज्जर के डीसी श्यामलाल पूनिया व एसपी वसीम अकरम शामिल हुए। तकरीबन 2 घंटे से ज्यादा समय तक चली बैठक में हरियाणा के अधिकारियों ने दोनों तरफ का रास्ता खोलने की बात रखी जबकि दिल्ली पुलिस सिर्फ दिल्ली से हरियाणा की तरफ आने वाली लेन खोल रही है। बैठक में मौजूद किसानों ने इस पर आपत्ति उठाते हुए कहा कि हरियाणा सरकार और दिल्ली पुलिस अलग-अलग रणनीति बना रही है।

बैठक में किसान टिकरी बॉर्डर पर 5 फीट चौड़ा रास्ता देने को तैयार हो गए ताकि राहगीरों के अलावा साइकिल, मोटरसाइकिल, ऑटो और एंबुलेंस वगैरह निकल सके। किसानों ने कारों के निकलने के लिए रास्ता देने से इनकार कर दिया। तीनों पक्षों के अलग-अलग राय जताने की वजह से आम सहमति नहीं बन पाई। ऐसे में  एक बार फिर टिकरी बॉर्डर पर किसानों के साथ बातचीत होगी।

हरियाणा सरकार हाईपावर कमेटी के मेंबर का दबाव जारी.
किसान आंदोलन के चलते बंद दिल्ली के बॉर्डर खुलवाने की मांग करते हुए पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई थी। उसके बाद सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर हरियाणा सरकार ने पिछले महीने ही किसानों से बातचीत के लिए हाईपावर कमेटी गठित की। इस कमेटी में हरियाणा के गृह सचिव राजीव अरोड़ा, DGP पीके अग्रवाल, CID चीफ आलोक मित्तल के साथ सोनीपत और झज्जर जिले के डीसी और एसपी शामिल हैं।
दिल्ली के बॉर्डर खोलने के मुद्दे पर संयुक्त किसान मोर्चा ने भी 6 नवंबर को एक बैठक बुलाई है। उम्मीद है कि उस मीटिंग में भी कोई फैसला लिया जा सकता है। बहादुरगढ़ में हरियाणा सरकार के अधिकारियों और दिल्ली पुलिस के साथ हुई बैठक में किसान नेताओं ने कहा कि रास्ते उनकी ओर से बंद नहीं किए गए।
किसानों ने यह भी कहा कि रास्ते दिल्ली पुलिस ने बंद किए हैं। इन्हें रास्ता कैसे और किनके लिए खोलना है, यह भी दिल्ली पुलिस को तय करना है। उन्हें रास्ते खोलने पर शुरू से ही कोई आपत्ति नहीं रही।
कुल मिलाकर दिल्ली-रोहतक नेशनल हाईवे-9 (NH) का एक तरफ का रास्ता साफ हो चुका है। इस सड़क के दूसरी तरफ काफी लंबी दूरी में किसानों के टेंट लगे हैं इसलिए फिलहाल एक तरफ की सड़क ही खुलेगी।