सेवामुक्त हुआ आईएनएस खुकरी दीव प्रशासन को सौंपा गया

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भारतीय नौसेना का पहला स्वदेश में निर्मित मिसाइल कार्वेट आईएनएस खुकरी (पी49) दीव  प्रशासन को सौंप दिया गया। ताकि इसे एक पूरे तौर पर संग्रहालय के रूप में विकसित किया जा सके। भारतीय नौसेना ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। इस मिसाइल कार्वेट को 32 साल की सेवा के बाद पिछले साल 23 दिसंबर को सेवा से मुक्त कर दिया गया था। आईएनएस खुकरी के पास अपने सेवा काल के दौरान पश्चिमी और पूर्वी दोनों बेड़ों का हिस्सा रहने का खिताब है।

दीव तथा लक्षद्वीप के प्रशासक प्रफुल्ल पटेल के हवाले किया। भारतीय नौसेना की ओर से इसे लेकर जारी बयान में कहा गया है कि सेवामुक्त किए गए जहाज को सौंपने के लिए बुधवार को दीव में एक भव्य लेकिन गंभीर समारोह का आयोजन किया गया। इस आयोजन के दौरान नौसेना के रियर एडमिरल अजय विनय भावे, फ्लैग ऑफिसर डॉक्ट्रिन एंड कॉन्सेप्ट्स ने औपचारिक रूप से केंद्र शासित प्रदेश दादर एवं नगर हवेली और दमन एवं दीव और लक्षद्वीप के प्रशासक प्रफुल्ल पटेल को सेवामुक्त जहाज सौंपा।

खुकरी मेमोरियल के साथ ही बनेगा संग्रहालय

बयान में कहा गया कि आईएनएस खुकरी को दीव प्रशासन की ओर से एक संग्रहालय के रूप में बदलने की योजना है। इस संग्रहालय में सभी लोगों को जाने की अनुमति होगी। यह संग्रहालय वहीं तैयार किया जाएगा जहां वर्तमान में मौजूद खुकरी मेमोरियल है। यहां पहले आईएनएस खुकरी (एफ149) का एक स्वरूप रखा गया है। इस आईएनएस खुकरी को संग्रहालय में बदलने के लिए विशाखापत्तनम से दीव तट पर 14 जनवरी को लाया गया था।

हाल ही में सेवामुक्त किया गया जहाज भारतीय नौसेना का आईएनएस खुकरी नाम का दूसरा जहाज है। पहला जहाज 1971 में भारत-पाकिस्तान युद्ध के दौरान दीव के तट से लापता हो गया था। इस जहाज की कमान महावीर चक्र विजेता कैप्टन महेंद्र नाथ मुल्ला (दिवंगत) के हाथ में थी। इस जहाज के बहादुर दल की स्मृति में दीव में खुकरी मेमोरियल तैयार किया गया था। यहां पर पुराने जहाज के एक छोटे मॉडल को भव्यता के साथ प्रदर्शित किया गया है।