राजस्थान में कोरोना वायरस का पहला मामला सामने आया है। जयपुर के एक अस्पताल में भर्ती इटली के पर्यटक में कोरोना वायरस की रिपोर्ट पॉजीटिव आई है। हालांकि पुष्टि के लिए पर्यटक के खून के नमूना पुणे की राष्ट्रीय विषाणु विज्ञान संस्थान को भेजा गया है। स्वास्थ्य विभाग के सूत्रों के अनुसार कोरोना वायरस के संदिग्ध मरीज को 29 फरवरी को एसएमएस अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में भर्ती किया गया था। उसी दिन उनके नमूने लेकर स्थानीय एसएमएस माईक्रो बॉयोलोजी लैब में जांच करवाई गई थी व इस जांच में सैंपल नेगेटिव मिला। मरीज का सोमवार को सैंपल लेकर एसएमएस माईक्रो बॉयोलोजी लैब में ही जांच करवाई गई।
प्रारम्भिक स्क्रीनिंग में संदिग्ध पाये जाने पर मरीज का ब्लड सैंपल लेकर कंफर्म जांच के लिये पूना भिजवाया गया है। उक्त मरीज जयपुर के एक स्थानीय होटल में अपने दल के साथ ठहरा हुआ था। अस्वस्थ होने पर उसे एक निजी चिकित्सालय में भर्ती करवाया गया तथा निजी चिकित्सालय से रैफर होने पर 29 फरवरी को एसएमएस हॉस्पिटल में भर्ती करवाया गया। अतिरिक्त मुख्य सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य रोहित कुमार सिंह ने बताया कि चिकित्सा अधिकारियों को स्थानीय होटल व निजी चिकित्सालय सहित मरीज के संपर्क में आये सभी स्थलों की स्क्रीनिंग करने के निर्देश दिये गये हैं।
वहीं सोमवार शाम को यह मामला राज्य विधानसभा में भी उठा जहां विधानसभा के प्रतिपक्ष के उपनेता राजेन्द्र राठौड़ ने इस बारे सरकार से जानकारी चाही। चिकित्सा व स्वास्थ्य मंत्री डा रघु शर्मा ने सदन को आश्वस्त किया कि सरकार कोरोना वायरस को लेकर पूर्णरूप से संवेंदनशील है। उन्होंने कहा कि इटली के 20 पर्यटकों का एक दल जयपुर आया था, उनमें से एक पर्यटक की तबियत खराब होने पर 29 फरवरी को सवाईमानसिंह चिकित्सालय में उसके खून की जांच हुई थी जो नेगेटिव आई थी लेकिन उसका स्वास्थ्य गिरता गया। आज फिर से उसके खून के नमूने की जांच की गई जिसमें वह पॉजीटिव पाया गया। उन्होंने बताया कि इटली से आये 20 सदस्यीय पर्यटकों के दल में से 19 सदस्य आगरा के लिये रवाना हो गये है। हमने इटली दूतावास को इस बारे में सूचित कर दिया है।
एक बयान में मंत्री ने कहा कि राज्य की जनता को कोरोना वायरस से डरने की जरूरत नहीं है। चिकित्सा विभाग कोरोना वायरस से निपटने के लिए पूर्ण सजग और चौकन्ना है। विभाग के आला अधिकारी और चिकित्सक सभी व्यवस्थाओं की प्रतिदिन मॉनिटरिंग कर रहे हैं। भारत सरकार के अधिकारियों के साथ समय-समय पर वीडियो कॉन्फ्रेसिंग और फोन के जरिए समन्वय रखा जा रहा है। बाहर से आने वाले लोगों के लिए एयरपोर्ट पर प्रतिदिन स्कि्रनिंग कर मेडिकल चेकअप करवाया जा रहा है। चिकित्सा मंत्री ने बताया कि एक मार्च तक सांगानेर इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर 161 फ्लाइट्स और 23 हजार से ज्यादा यात्रियों की स्क्रीनिंग की जा चुकी है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में अब तक 102 सैंपल लिए गए जिनमें सभी नेगेटिव पाए गए।