
उत्तराखंड में लंबे समय से लंबित कैबिनेट विस्तार का इंतजार अब खत्म होने की संभावना है। राज्य में सरकार और भाजपा संगठन के भीतर इस मुद्दे पर हलचल तेज हो गई है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी बुधवार, 17 अक्तूबर को दिल्ली रवाना होंगे, जहां वह पार्टी के शीर्ष नेतृत्व से मुलाकात करेंगे। माना जा रहा है कि इसी दौरान कैबिनेट विस्तार पर अंतिम फैसला लिया जा सकता है।
राज्य मंत्रिमंडल में फिलहाल पांच पद खाली हैं। इनमें से चार पद काफी समय से रिक्त हैं, जबकि एक पद पूर्व संसदीय कार्य मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल के इस्तीफे के बाद खाली हुआ था। इन रिक्तियों को भरने की मांग भाजपा विधायकों के बीच लंबे समय से उठ रही थी। हालांकि कई बार चर्चा के संकेत मिले, लेकिन अब तक कोई ठोस निर्णय नहीं हो पाया था। अब संगठन और सरकार दोनों स्तर पर गतिविधियां बढ़ने से राजनीतिक सरगर्मी तेज हो गई है।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट ने बताया कि मुख्यमंत्री धामी कैबिनेट विस्तार के मुद्दे पर दिल्ली में शीर्ष नेतृत्व से चर्चा करेंगे। उन्होंने कहा कि “कैबिनेट विस्तार पर लगातार मंथन चल रहा है और अब बहुत जल्द यह प्रक्रिया पूरी होगी।” भट्ट के अनुसार, निकाय, पंचायत और उपचुनावों के साथ-साथ आपदा प्रबंधन की वजह से विस्तार अब तक टलता रहा, लेकिन अब इसके लिए अनुकूल समय बन गया है।
भट्ट ने कहा कि मुख्यमंत्री संगठन से परामर्श के बाद पांच नए चेहरों को मंत्रिमंडल में शामिल करेंगे। इससे राज्य की विकास प्रक्रिया को नई गति मिलने की उम्मीद है।
सूत्रों के अनुसार, मुख्यमंत्री धामी की दिल्ली यात्रा के दौरान भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व से मुलाकात के बाद ही नए मंत्रियों के नाम तय किए जाएंगे। पार्टी सूत्रों का कहना है कि विस्तार में क्षेत्रीय संतुलन और जातीय समीकरण का पूरा ध्यान रखा जाएगा।
राजनीतिक हलकों में चर्चा है कि इस बार कैबिनेट में युवा विधायकों और संगठन से जुड़े सक्रिय चेहरों को मौका मिल सकता है। माना जा रहा है कि यह विस्तार पार्टी कार्यकर्ताओं और जनता दोनों के लिए एक सकारात्मक संदेश देगा कि सरकार मजबूती और संतुलन के साथ आगे बढ़ रही है।
भाजपा सूत्रों के मुताबिक, यदि दिल्ली से हरी झंडी मिल जाती है तो कैबिनेट विस्तार की औपचारिक घोषणा इस माह के अंत तक की जा सकती है।