राफेल लड़ाकू विमान मामले में रिव्यू पिटिशन पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई लंच के बाद फिर शुरू होगी। राफेल मामले पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने लड़ाकू विमान से संबंधी कोई भी अतिरिक्त दस्तावेज़ लेने से इन्कार किया है। अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि रक्षा मंत्रालय से कुछ दस्तावेज किसी कर्मचारी द्वारा चुराए गए थे। उन्होंने कहा कि हम रक्षा खरीद जिसमें राज्य की सुरक्षा शामिल है, उससे निपट रहे हैं। यह बहुत ही संवेदनशील मामला है।
सुप्रीम कोर्ट में अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने कहा कि हिंदू अखबार, याचिकाकर्ता भूषण और अन्य लोग चोरी के दस्तावेजों पर भरोसा कर रहे हैं, जिसके लिए उन्हें आधिकारिक गोपनीयता अधिनियम के तहत अभियोजन का सामना करना पड़ेगा। जो किया गया है, वह अपराध है। हम इसका विरोध कर रहे हैं क्योंकि ये दस्तावेज संलग्न नहीं किए जा सकते। रिव्यू को खारिज किया जाए।
कोर्ट ने A.G से कहा कि आप कह रहे हैं कि कागजात चोरी हुए तो इसे लेकर क्या कर रहे हैं? लंच के बाद केंद्र बताए कि इस मुद्दे पर आप क्या कर रहे हैं? आप कह रहे हैं कि आप कार्रवाई कर रहे हैं तो ये क्या कार्रवाई है? अब मामले पर लंच के बाद फिर सुनवाई शुरू होगी।
इससे पहले प्रशांत भूषण ने कहा कि राफेल फैसले में कई सारी गलतियां हैं, जिन तथ्यों पर भरोसा किया गया है। सरकार के सीलबंद नोट में तथ्यात्मक गड़बड़ियां होने की बात कही। कोर्ट का फैसला सरकार के दिए गलत नोट पर आधारित था। सरकार ने भी अपने नोट में टाइप की भूल से मतलब बदलने की बात स्वीकारी थी। प्रशांत भूषण ने एनराम द्वारा दिए गए 8 पेज की नेगोशिएटिंग टीम के तीन सदस्यों की रिपोर्ट हिंदी में दिखाई।