द्वितीय केदार भगवान मद्महेश्वर के कपाट इस वर्ष 20 मई और तृतीय केदार भगवान तुंगनाथ के कपाट 10 मई को शुभ लग्न में श्रद्धालुओं के लिए खोल दिए जाएंगे।
द्वितीय केदार भगवान मद्महेश्वर के कपाट इस वर्ष 20 मई को खुलेंगे
द्वितीय केदार भगवान मद्महेश्वर के कपाट इस वर्ष 20 मई को खुलेंगे। पंच केदार में इसे दूसरे केदार के रूप में पूजा जाता है। देवों के देव महादेव का यह मंदिर उत्तराखंड के प्रमुख शिव मंदिरों में से एक है, जिसकी हिंदू धर्म में बहुत ज्यादा मान्यता है क्योंकि यहां पर भगवान शिव के बैल स्वरूप की नाभि की पूजा का विधान है। मान्यता है कि इस मंदिर को महाभारतकाल में पांडवों द्वारा बनवया गया था।
तृतीय केदार भगवान तुंगनाथ के कपाट 10 मई को खुलेंगे
तृतीय केदार भगवान तुंगनाथ के कपाट 10 मई को खुलेंगे। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, तुंगनाथ मंदिर का निर्माण पांडवों ने भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए किया था, क्योंकि शिव महाभारत के युद्ध में नरसंहार के कारण पांडवों से रुष्ट हो गए थे। यह भी माना जाता है कि माता पार्वती ने भोलेनाथ से विवाह से पहले उन्हें खुश करने के लिए तुंगनाथ की धरती पर ही तपस्या की थी।
पंचकेदार गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर उखीमठ और मर्कटेश्वर मंदिर मक्कू में विशेष पूजा-अर्चना के बाद मंदिर के कपाट खुलने की तिथि घोषित हुई।