भारतीय नौसेना का पहला प्रशिक्षण स्क्वाड्रन मोम्बासा से तीन दिवसीय सफल प्रवास के बाद रवाना!

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भारतीय नौसेना का पहला प्रशिक्षण स्क्वाड्रन (1टीएस), जिसमें आईएनएस तीर, आईएनएस सुजाता, आईएनएस शार्दुल और आईसीजीएस सारथी शामिल थे, तीन-दिवसीय सफल प्रवास के बाद 28 सितंबर 2025 को केन्या के मोम्बासा बंदरगाह से रवाना हुआ। यह यात्रा केन्या नौसेना (केएनएस शुपावु) के साथ किए गए पैसेक्स (पैसेज अभ्यास) के साथ शानदार ढंग से संपन्न हुई।

इस यात्रा ने बहारी और महासागर के समुद्री दृष्टिकोण के तहत भारत और केन्या के नौसेनाओं के प्रशिक्षु अधिकारियों को बहुमूल्य अनुभव प्रदान करते हुए, दोनों देशों के बीच समुद्री मैत्री एवं सहयोग के मजबूत संबंधों को दोहराया। भारतीय नौसेना और केन्या की नौसेनाओं ने कई तरह की पेशेवर बातचीत, पारस्परिक प्रशिक्षण दौरों और बंदरगाह पर संयुक्त प्रशिक्षण अभ्यासों में भाग लिया। मुख्य आकर्षणों में दोनों नौसेनाओं के नौसेना बैंडों का संयुक्त प्रदर्शन, संयुक्त योग सत्र, क्षति नियंत्रण एवं अग्निशमन संबंधी अभ्यास और एक वृद्धाश्रम में सामुदायिक संपर्क शामिल थी।

1टीएस जहाजों के कमांडिंग ऑफिसर्स और केन्या नौसेना के कमांडर के बीच शिष्टाचार भेंट हुई। प्रतिनिधिमंडल ने केन्याई नौसेना अस्पताल के रेडियोलॉजी विभाग का भी दौरा किया, जहां भारत सरकार द्वारा प्रदत्त अत्याधुनिक सीटी स्कैन सुविधा उपलब्ध है। आईएनएस शार्दुल के डेक पर 1टीएस के वरिष्ठ अधिकारी और कार्यवाहक उच्चायुक्त द्वारा संयुक्त रूप से आयोजित एक स्वागत समारोह में केन्या सरकार, केन्या रक्षा बलों और प्रवासी भारतीयों के गणमान्य व्यक्तियों के साथ बातचीत का अवसर मिला। ये जहाज स्थानीय लोगों और प्रवासी भारतीयों के लिए खुले थे।

1टीएस की लंबी दूरी की प्रशिक्षण तैनाती का सफल समापन सामूहिक समुद्री हितों की सुरक्षा, क्षमता निर्माण और आईओआर देशों के साथ स्थायी साझेदारी के प्रति भारतीय नौसेना की प्रतिबद्धता को रेखांकित करता है।