उत्तर प्रदेश के आगरा जिले के एएसएन मेडिकल कॉलेज अस्पताल में इलाज के दौरान कोविड-19 की 76 वर्षीय मरीज की बुधवार को मौत हो गई। जिले में कोरोना वायरस संक्रमण से यह पहली मौत है, हालांकि यहां 65 लोग में संक्रमण की पुष्टि हुई है। जिलाधिकारी प्रभु नारायण सिंह ने बताया, ‘‘महिला का नाती 15 मार्च को नीदरलैंड से लौटा था। वह 14 दिन के अनिवार्य पृथक वास में भी रहा था।
उस दौरान उसमें संक्रमण के कोई लक्षण सामने नहीं आए और उसे घर जाने दिया गया। लेकिन उसके संपर्क में आने के कारण महिला संक्रमित हो गयीं।’’ उन्होंने बताया कि पहले दो निजी अस्पतालों में 10 दिन तक महिला के अस्थमा का इलाज चलता रहा, लेकिन तबियत बिगड़ने पर उन्हें एसएन मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उनके संक्रमित होने की पुष्टि हुई। उन्होंने बताया कि जिले में अभी तक 65 लोगों में संक्रमण की पुष्टि हुई है
जिनमें से आठ लोग इलाज के बाद घर जा चुके हैं जबकि एक महिला की मौत हुई है। कोविड-19 संकट की पृष्ठभूमि में आगरा डीसीएम के जनसंपर्क अधिकारी एस.के. श्रीवास्तव ने बताया, ‘‘आगरा में ट्रेन के डिब्बों में 30 आईसीयू बेड बनाये जा रहे हैं। वरिष्ठ मंडल सुरक्षा आयुक्त के निर्देशन में रेलवे सुरक्षा बल आगरा में ट्रेन के डिब्बों को पृथक वास वार्ड में तब्दील किया जा रहा है।’’ कोविड-19 संकट के बीच मानवीयता से भरपूर एक अच्छी खबर भी आयी है।
आगरा शहर के शाहगंज थाना क्षेत्र निवासी एक बुजुर्ग ने पुलिस हेल्पलाइन पर कॉल करके अपनी दवाई लाने में मदद मांगी। तत्काल कार्यवाही करते हुए मौके पर पहुंची पीआरवी ने देखा कि वृद्ध की उम्र तकरीबन 8० वर्ष है और वह चलने-फिरने में असमर्थ हैं। आगरा पुलिस पीआरवी 4०71 में तैनात कमांडर राजेश कुमार, होमगार्ड चालक सुल्तान सिंह ने तुरंत मौके पर पहुंचकर बुजुर्ग से दवा का पर्चा लिया और उन्हें दवाएं लाकर दीं।