इलाहाबाद हाई कोर्ट ने प्रदेश को दी पूर्ण लॉकडाउन पर विचार करने की सलाह

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कोरोना वायरस से देश में सबसे ज्यादा प्रभावित महाराष्ट्र राज्य में मिनी लॉकडाउन लगाया गया है। मंगलवार को उद्धव ठाकरे सरकार ने इसका ऐलान करते हुए कहा कि 30 अप्रैल तक अनावश्यक रूप से लोगों को घर से बाहर निकलने की मनाही होगी। इस दौरान प्रदेश में धारा 144 लागू रहेगी। वहीं, महाराष्ट्र के बाद देश के सबसे ज्यादा जनसंख्या वाले राज्य उत्तर प्रदेश में भी दोबारा लॉकडाउन की आहट सुनाई देने लगी है।

मंगलवार को इलाहाबाद हाई कोर्ट ने प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार को दो-तीन हफ्ते के पूर्ण लॉकडाउन पर विचार करने की सलाह दी है। कोरोना मामले को लेकर दाखिल जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए जस्टिस सिद्धार्थ वर्मा और जस्टिस अजित कुमार की खंडपीठ ने मंगलवार को कहा कि नाइट या कोरोना कर्फ्यू संक्रमण फैलाव रोकने के छोटे कदम हैं। लॉकडाउन लगाना सही नहीं है, लेकिन जिस तरह संक्रमण फैल रहा है, उसे देखते हुए सरकार को ज्यादा संक्रमण वाले शहरों में लॉकडाउन पर विचार करना चाहिए।

 हालांकि, सीएम योगी आदित्यनाथ प्रदेश में फिर से लॉकडाउन लगाने के पक्ष में नहीं हैं। उन्होंने हाल ही में कहा था कि उन्हें प्रदेश में लोगों की जान भी बचानी है और अजीविका भी बचाना है। इससे पहले महाराष्ट्र के सीएम उद्धव ठाकरे ने भी अपने प्रदेश में लॉकडाउन दोबारा न लगाने का ऐलान किया था। लेकिन प्रदेश की परिस्थितियां जब बद से बदतर होती गईं, तब उन्हें इसके सीमित प्रतिबंधों को लेकर इस पर विचार करना पड़ा।

उत्तर प्रदेश में भी धीरे-धीरे स्थिति बदतर होती जा रही है। राजधानी लखनऊ का हाल सबसे ज्यादा बुरा है। वहां हजारों नए मरीज रोजाना सामने आ रहे हैं। श्मशान घाटों पर शवों की लाइनें लगी हैं। लोग बिना मास्क के अभी भी सड़कों पर नजर आ रहे हैं। इसके अलावा हरिद्वार कुंभ में हिस्सा लेने गए लोगों के वापस लौटने पर स्थिति और खराब होने की आशंका है। मुंबई में मिनी लॉकडाउन लगने के बाद वहां गए प्रवासी मजदूर एक बार फिर वापस अपने घर लौट रहे हैं। ऐसे में आने वाले दिनों में संक्रमण की रफ्तार और तेज होने की आशंका है।तमाम दावों के बावजूद स्टेशनों पर 25 प्रतिशत यात्रियों की भी कोरोना जांच नहीं हो सकी।

इन परिस्थितियों से निपटने के लिए लॉकडाउन की अनिवार्यता से इनकार नहीं किया जा सकता। हालांकि, माना जा रहा है कि पूर्ण लॉकडाउन नहीं, तो प्रदेश में प्रतिबंधों को और सख्त बनाया जा सकता है। प्रदेश के कई जिलों में पहले से नाईट कर्फ्यू और वीकेंड लॉकडाउन जैसे इंतजाम किए गए हैं।