उत्तराखंड में फायर सीजन 15 फरवरी से लेकर 15 जून तक रहता है. जिसमें कई हेक्टेयर जंगल जलकर खाक हो जाते हैं. जिस वजह से पेड़-पौधे और पशु-पक्षी के अलावा वातावरण को काफी नुकसान पहुंचता है. इस बार उत्तराखंड के जंगल काफी संख्या में जल रहे हैं.
इस बार उत्तराखंड के तमाम इलाकों में वन अग्नि की घटनाएं सामने आ रही हैं. जिससे प्रशासन के अलावा वन विभाग के तमाम अधिकारियों के साथ अन्य टीम जंगलों की आग को बुझाने का काम कर रही है.
अगर अब कोई भी अपने खेत में आग लगाता है, तो उसके ऊपर कार्रवाई की जाएगी इसके लिए अल्मोड़ा के डीएफओ दीपक सिंह ने मिडिया से बातचीत करते हुए बताया कि अगर कोई भी अपने खेतों में आग लगाता है और वह पकड़ा जाता है, तो उसके ऊपर मुकदमा दर्ज करके कार्रवाई की जाएगी.
डीएफओ दीपक सिंह ने बताया कि उत्तराखंड के हर जिले में यह व्यवस्था लागू की जाएगी. अगर कोई भी अपने खेत में आग लगाता है, तो उसके ऊपर स्थानीय प्रशासन और पुलिस मुकदमा दर्ज करेगी और उनसे जुर्माना भी वसूलेगी.
अल्मोड़ा के डीएफओ दीपक सिंह ने बताया कि फायर सीजन को देखते हुए अगर कोई भी अपने खेत में आग लगाते हुए पाया जाता है, तो उसके ऊपर आपदा अधिनियम 133 के अंतर्गत कार्रवाई की जाएगी और उसे करीब 6 महीने की जेल भी हो सकती है.