
उत्तराखंड के करीब 24 लाख बिजली उपभोक्ताओं को इस महीने बड़ी राहत मिलने जा रही है। उत्तराखंड पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (UPCL) ने घोषणा की है कि फ्यूल एंड पावर परचेज कॉस्ट एडजस्टमेंट (FPPCA) के तहत उपभोक्ताओं के बिजली बिलों में कमी की जाएगी। यह निर्णय इसलिए लिया गया है क्योंकि इस महीने निगम को बाजार से अपेक्षाकृत सस्ती दरों पर बिजली खरीदने का अवसर मिला, जिससे कुल 13.44 करोड़ रुपये की बचत हुई है। सरकार और ऊर्जा विभाग का उद्देश्य इस बचत को सीधे उपभोक्ताओं तक पहुंचाकर उनके मासिक खर्च में राहत देना है। FPPCA एक ऐसी व्यवस्था है, जिसके अंतर्गत बिजली वितरण कंपनियां ईंधन की कीमतों या बिजली खरीद लागत में उतार-चढ़ाव को उपभोक्ताओं के बिलों में समायोजित करती हैं। यदि बिजली महंगी खरीदी जाती है, तो उसका अतिरिक्त बोझ उपभोक्ताओं पर पड़ता है, जबकि सस्ती बिजली खरीदने की स्थिति में उपभोक्ताओं को छूट दी जाती है। यही कारण है कि इस महीने उपभोक्ताओं को औसतन 0.11 रुपये प्रति यूनिट की राहत प्रदान की जाएगी।
UPCL के अनुसार यह छूट सभी श्रेणियों के उपभोक्ताओं पर लागू होगी, जिससे घरेलू, वाणिज्यिक, कृषि, औद्योगिक, सरकारी भवनों एवं इलेक्ट्रिक वाहन चार्जिंग स्टेशन संचालकों को भी प्रत्यक्ष लाभ मिलेगा। घरेलू उपभोक्ताओं को 3 से 9 पैसे प्रति यूनिट तक राहत मिलेगी, जो उनकी यूनिट खपत के आधार पर बदलती रहेगी। वाणिज्यिक उपभोक्ताओं के लिए यह राहत लगभग 13 पैसे प्रति यूनिट तय की गई है। कृषि पंपसेट उपयोगकर्ताओं को भी 4 से 6 पैसे प्रति यूनिट का फायदा मिलेगा, जबकि उद्योगों के लिए यह राहत लगभग 12 पैसे प्रति यूनिट होगी। सरकारी भवनों को भी करीब 12 पैसे प्रति यूनिट और इलेक्ट्रिक वाहन चार्जिंग स्टेशनों को लगभग 11 पैसे प्रति यूनिट की छूट लागू की जाएगी। विशेषज्ञों का मानना है कि ऐसे कदम न केवल उपभोक्ताओं के आर्थिक बोझ को कम करते हैं, बल्कि ऊर्जा प्रबंधन और बिजली वितरण व्यवस्था की पारदर्शिता को भी मजबूत बनाते हैं।
इससे पहले भी उपभोक्ताओं को FPPCA के तहत राहत दी जाती रही है। हाल के महीनों में मई में 0.89 रुपये प्रति यूनिट की बड़ी छूट दी गई थी, जबकि जुलाई में उपभोग के आधार पर 24 पैसे से लेकर 1 रुपये प्रति यूनिट तक राहत प्रदान की गई थी। इसके अलावा मार्च में 137 करोड़ रुपये की रियायत देते हुए उपभोक्ताओं को 1.19 रुपये प्रति यूनिट तक का लाभ पहुंचाया गया था। ऐसे उदाहरण दिखाते हैं कि ऊर्जा खरीद की स्थिति और बाजार दरों के आधार पर UPCL समय-समय पर उपभोक्ताओं को आर्थिक राहत देती रही है। UPCL के ऑपरेशन निदेशक एम.आर. आर्या का कहना है कि इस समय राज्य में बिजली की मांग सामान्य है और बाजार में बिजली की उपलब्धता बेहतर है, जिससे कम दरों पर बिजली खरीदने में मदद मिली। इसी बचत को ध्यान में रखते हुए उपभोक्ताओं को यह राहत दी जा रही है। ऊर्जा क्षेत्र के जानकारों का मानना है कि इस तरह के कदम उपभोक्ताओं का भरोसा बढ़ाते हैं और बिजली वितरण व्यवस्था को अधिक विश्वसनीय बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।












