भारत ऐसी शक्तिशाली प्रतिक्रिया पर ध्यान दे रहा जो युद्ध में तब्दील न हो : सेना प्रमुख

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भारत अपने परम्परागत शौर्य को मजबूत करने के अलावा अपनी पश्चिमी एवं उत्तरी सीमा के पास ऐसी शक्तिशाली प्रतिक्रिया देने पर ध्यान केंद्रित कर रहा है जिसका युद्ध से दूर-दूर तक कोई लेना-देना न हो। सेना प्रमुख जनरल एम एम नरवणे ने जमीनी युद्ध के विषय पर बुधवार को यहां आयोजित सम्मेलन में कहा कि बालाकोट में किए गए हवाई हमले दिखाते हैं कि अगर आप निपुण हैं तो जरूरी नहीं कि बढ़ा हुआ तनाव हमेशा युद्ध में तब्दील हो जाए। भारत की उत्तरी सीमा चीन के साथ और पश्चिमी सीमा पाकिस्तान के साथ लगती है।

सेना प्रमुख ने इस ओर इशारा किया कि दक्षिण चीन सागर में चीन का प्रभुत्व दिखाता है कि एक भी गोली चलाए बिना या जवाबी कार्रवाई के लिए उकसाए बिना छोटे-छोटे कदमों से भी लक्ष्य हासिल किया जा सकता है। नरवणे ने कहा कि अमेरिका, ब्रिटेन की 21वीं सदी की सेनाओं की तुलना में आईएसआईएस तबाही मचाने की गतिविधियों के लिए सोशल मीडिया का इस्तेमाल करने में कहीं आगे है।