केदारनाथ यात्रा के दौरान ड्रग्स का पहला मामला, महाराष्ट्र का यात्री एलएसडी के साथ गिरफ्तार, पुलिस अलर्ट

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केदारनाथ धाम की पवित्र यात्रा के दौरान नशे से जुड़ा पहला मामला सामने आया है, जिसने सुरक्षा एजेंसियों की चिंता बढ़ा दी है। नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) देहरादून की टीम ने फाटा क्षेत्र में छापेमारी कर महाराष्ट्र से आए एक यात्री को प्रतिबंधित एलएसडी (LSD) ड्रग्स के साथ गिरफ्तार किया है। आरोपी की पहचान शशिकांत नामक युवक के रूप में की गई है।

एनसीबी को देशभर में पकड़े गए ड्रग्स तस्करों से पूछताछ के दौरान मिली जानकारी के आधार पर यह कार्रवाई की गई। 3 जुलाई को NCB और गुप्तकाशी थाना पुलिस की संयुक्त टीम ने फाटा में छापेमारी की। इस दौरान 0.26 ग्राम एलएसडी बरामद की गई, जिसे आरोपी ने डाक के जरिए मंगवाया था। जांच में खुलासा हुआ है कि शशिकांत खुद इसका सेवन करने वाला था।

कोर्ट से जेल भेजा गया आरोपी

गिरफ्तारी के बाद शशिकांत को कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उसे पुरसाड़ी जेल भेज दिया गया है। पुलिस अब उसके साथ यात्रा पर आए अन्य साथियों से भी पूछताछ कर रही है, ताकि नशा तस्करी के किसी नेटवर्क का खुलासा हो सके।

इस घटना के बाद पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों ने केदारनाथ यात्रा मार्ग पर सतर्कता बढ़ा दी है। संवेदनशील स्थानों पर चेकिंग अभियान तेज कर दिया गया है और यात्रियों की गतिविधियों पर नजर रखी जा रही है। पुलिस ने अपील की है कि श्रद्धालु किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत स्थानीय पुलिस को दें।

क्या होता है एलएसडी?

एलएसडी (LSD) एक अत्यधिक शक्तिशाली साइकेडेलिक ड्रग है, जिसे ‘एसिड ट्रिप’ के नाम से भी जाना जाता है। यह गंधहीन, रंगहीन और स्वादहीन होती है, और आमतौर पर इसे कागज के छोटे टुकड़ों में सोखकर सेवन किया जाता है। इसका प्रभाव मस्तिष्क पर गहरा पड़ता है और व्यक्ति को भ्रम, मतिभ्रम और मानसिक असंतुलन की स्थिति में ले जाता है।

पवित्र स्थल पर नशा चिंता का विषय

केदारनाथ जैसे पवित्र तीर्थ स्थल पर नशे से जुड़ा यह पहला मामला सुरक्षा एजेंसियों के लिए चेतावनी है। प्रशासन की कोशिश है कि यात्रा को शुद्ध, सुरक्षित और श्रद्धालुओं के लिए पूरी तरह नशा मुक्त बनाया जाए।