Home Entertainment Bollywood CAA और NRC को लेकर बॉलीवुड में संग्राम, भीड़े दो कलाकार

CAA और NRC को लेकर बॉलीवुड में संग्राम, भीड़े दो कलाकार

CAA  और NRC एक ऐसा मुद्दा है जिसपर नेताओं से लेकर बॉलीवुड के सीतारें भी लड रहें हैं। बॉलीवुड के दो दिग्गज अभिनेता नसीरुद्दीन शाह और अनुपम खेर के बीच CAA/NRC मामले में जुबानी जंग छिड़ गई है। जहां एक ओर नसीरुद्दीन ने अनुपम खेर और उनकी बातों को जोकर कहा, वहीं दूसरी ओर अनुपम ने नसीरुद्दीन को फ्रस्ट्रेटेड इंसान बताया है।

फिल्म ए वेडनेस्डे में जब दोनों अभ‍िनेता एक दूसरे के आमने-सामने नजर आए थे, तो किसे पता था कि ये बहस पर्दे तक सीमित नहीं रहने वाली है, बल्क‍ि इसका रुख तो पर्दे के बाहर सियासी मैदान तक चलेगा। दरअसल, ये कोई पहली बार नहीं है जब दोनों अभ‍िनेता की बहस हुई है। इससे पहले भी कश्मीरी पंडित विस्थापन और बुलंदशहर हिंसा मामले में दोनों के बीच तीखी नोंक-झोंक हो चुकी है।

 

कश्मीरी पंडितों के विस्थापन पर भी हुई थी बहस

साल 2016 में जब कश्मीर में कश्मीरी पंडितों के पुनर्वास को लेकर राजनीतिक मामला गर्माया था, तब उसमें बॉलीवुड के सितारों ने भी अपनी राय रखी थी। चूंकि अनुपम खेर खुद कश्मीरी पंडित हैं, तो उन्होंने कश्मीरी पंडितों के समर्थन में आवाज उठाई थी। इस पर नसीरुद्दीन शाह ने अनुपम पर तंज कसते हुए कहा था, ‘वो व्यक्त‍ि जो आजतक कश्मीर में नहीं रहा, आज कश्मीरी पंडितों के लिए लड़ रहा है।

अचानक वो एक विस्थापित इंसान बन गया है’। नसीरुद्दीन को जवाब देते हुए अनुपम ने भी लिखा, ‘तब तो लॉजिक ये बनता है कि NRI को भी भारत के बारे में बिल्कुल नहीं सोचना चाहिए’। बाद में डायरेक्टर मधुर भंडाकर समेत कई बॉलीवुड स्टार्स ने अनुपम का साथ देते हुए कहा था कि कश्मीरी पंडितों का साथ देने के लिए कश्मीरी होना जरूरी नहीं है।

बुलंदशहर हिंसा मामला

दूसरा मामला बुलंदशहर हिंसा का है। गौ हत्या को लेकर बुलंदशहर में जब हिंदू-मुस्लिम दो समुदायों में झड़प हुई, तो आम आदमी से लेकर बॉलीवुड का भी रिएक्शन सामने आया। इस पर नसीरुद्दीन शाह ने कहा था कि उन्हें डर लगता है ये सोचकर कि जब उनके बच्चे बाहर जाएंगे तो भीड़ द्वारा उनसे हिंदू या मुस्लिेम होने का सवाल ना किया जाए।

उनके इस बयान से कुछ बॉलीवुड सेलेब्स आहत हुए। इस पर जवाब देते हुए अनुपम खेर ने बयान दिया था, ‘देश में इतनी आजादी है कि आप सेना को, एयरचीफ को गाली दे सकते हैं, जवानों पर पत्थर फेंक सकते हैं और कितनी आजादी चाहिए? उन्होंने वो कहा जो उन्हें लगा लेकिन इसका ये मतलब नहीं कि वह सच है’।

अब किस बात पर है लड़ाई?

बता दें कि नसीरुद्दीन शाह ने CAA-NRC प्रोटेस्ट्स को लेकर कड़ी आलोचना की थी। उन्होंने कहा था कि अनुपम एक जोकर हैं। उन्हें गंभीरता से लेने की जरुरत नहीं है। एनएसडी, एनएफटीआईआई के दौर के उनके कई समकालीन लोग उनके साइकोपैथ नेचर के बारे में बता सकते हैं, ये उनके खून में है। लेकिन बाकी लोग जो इनका समर्थन कर रहे हैं उन्हें फैसला करना चाहिए कि आखिर वे किसका सपोर्ट कर रहे हैं। उन्हें हमें हमारी जिम्मेदारी बताने की जरुरत नहीं है, हम जानते हैं कि हमारी जिम्मेदारियां क्या हैं’।

नसीरुद्दीन पर पलटवार करते हुए अनुपम ने भी ट्वीट कर नसीरुद्दीन को कहा, ‘मैंने कभी भी आपकी बुराई नहीं की पर आज जरूर कहना चाहता हूं कि आपने अपनी पूरी जिंदगी इतनी कामयाबी मिलने के बाद भी फ्रस्ट्रेशन में ही बिताई है’।

रिपोर्ट-प्रिया राठौर 

Exit mobile version