श्री चिंतपूर्णी देवी (छिन्नमस्ता जी) की आरती (Chintapurni Chinnamasta Maa Aarti)

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श्री चिंतपूर्णी देवी

श्री चिंतपूर्णी देवी चिंतपूर्णी चिंता दूर करनी,

जग को तारो भोली माँ

जन को तारो भोली माँ,

काली दा पुत्र पवन दा घोड़ा ॥ ॥ भोली माँ ॥

सिन्हा पर भाई असवार,

भोली माँ, चिंतपूर्णी चिंता दूर ॥ ॥ भोली माँ ॥

एक हाथ खड़ग दूजे में खांडा,

तीजे त्रिशूल सम्भालो ॥ ॥ भोली माँ ॥

चौथे हाथ चक्कर गदा,

पाँचवे-छठे मुण्ड़ो की माला ॥ ॥ भोली माँ ॥

सातवे से रुण्ड मुण्ड बिदारे,

आठवे से असुर संहारो ॥ ॥ भोली माँ ॥

चम्पे का बाग़ लगा अति सुन्दर,

बैठी दीवान लगाये ॥ ॥ भोली माँ ॥

हरी ब्रम्हा तेरे भवन विराजे,

लाल चंदोया बैठी तान ॥ ॥ भोली माँ ॥

औखी घाटी विकटा पैंडा,

तले बहे दरिया ॥ ॥ भोली माँ ॥

सुमन चरण ध्यानु जस गावे,

भक्तां दी पज निभाओ ॥ ॥ भोली माँ

चिंतपूर्णी चिंता दूर करनी,

जग को तारो भोली माँ

चिंतपूर्णी धाम हिमाचल प्रदेश में स्थित है। यह स्थान हिंदुओं के प्रमुख धार्मिक स्थलो में से एक है। यह 51 शक्ति पीठो में से एक है। यहां पर माता सती के चरण गिर थे। इस स्थान पर प्रकृति का सुंदर नजारा देखने को मिल जाता है। यात्रा मार्ग में काफी सारे मनमोहक दृश्य यात्रियो का मन मोह लेते हैं और उनपर एक अमिट छाप छोड़ देते हैं। यहां पर आकर माता के भक्तों को आध्यात्मिक आंनद की प्राप्ति होती है। वर्तमान में उत्तर भारत की नौ देवी यात्रा में चिंतपूर्णी का पांचवा दर्शन होता है वैष्णो देवी से शुरू होने वाली नौ देवी यात्रा में माँ चामुण्डा देवी, माँ वज्रेश्वरी देवी, माँ ज्वाला देवी, माँ चिंतपुरणी देवी, माँ नैना देवी, माँ मनसा देवी, माँ कालिका देवी, माँ शाकम्भरी देवी सहारनपुर आदि शामिल हैं।